Skip to main content

Posts

Showing posts with the label ratanpur tourist places

Ratanpur's bawali kunwa (रतनपुर का बावली कुंआ) | रतनपुर के बावली कुंआ का रहस्‍य | रतनपुर का बादल महल | ratanpur tourist places | ratanpur picnic spots | ratanpur badal mahal | kho kho bawali ratanpur

Image
 Ratanpur's bawali kunwa (रतनपुर का बावली कुंआ) रतनपुर छत्‍तीसगढ़ का एक एैसा नगर हैं, जिसे किसी भी प्रकार के परिचय कि जरूरत नहीं हैं, रतनपुर का नाम पौराणिक कहानियों में लोक में प्रचलित किंवदितियों में और इतिहास में प्रसिद्ध हैं, रतनपुर में सबसे अधिक समय तक शासन कल्‍चुरी वंश का रहा हैं, इसके अलावा यहां हैहैवंशीय राजाओं और मराठा शासकों ने भी शासन किया हैं, इन सभी राजवंशों के शासन के दौरान छत्‍तीसगढ़ के बिलासपुर जिले के इस प्राचीन नगर रतनपुर में कई स्‍तर पर भौतिक और सामाजिक परिवर्तन हुए हैं, यह परिवर्तन अधिकांशत: रतनपुर के कल्‍चर और यहां कि निर्माण शैली में देखा जा सकता हैं, प्राचीन समय में यहां कई सारे प्राचीन मंदिरों और स्‍मारकों का निर्माण हुआ जिनके साक्ष्‍य आपको रतनपुर के प्राचीन मंदिरों और स्‍मारक महलों के रूप में देखने को मिलेगा ।  रतनपुर के बावली कुंआ का रहस्‍य  रतनपुर वर्षों से अनेकों राजवंशो के लिए सत्‍ता का केन्‍द्र रहा था, यहां कई वंशो द्वारा शासन किया गया था, रतनपुर कल्‍चुरी शासनकाल में छत्‍तीसगढ़ की राजधानी भी रही थी । कल्‍चुरी काल में ही रतनपुर से कुछ दूरी पर स...

Khuntaghat dam bilaspur chhattisgarh | खुंटाघाट जलाशय खारंग जलाशय रतनपुर बिलासपुर | Khuntaghat bandh bilaspur ratanpur | kharang jalashay sanjay gandhi jalashay ratanpur bilaspur

Image
Khuntaghat dam bilaspur chhattisgarh खुंटाघाट बांध छत्‍तीसगढ़ के प्रसिद्ध बांधों में से एक बांध है, यह बांध छत्‍तीसगढ़ के बिलासपुर जिले के रतनपुर नामक धार्मिक नगरी के पास स्थित है, यह जगह बांध बनने से पहले एक गांव हुआ करती थी जिसे खुंटाडीह या खुटाघाट कहते थे । बिलासपुर जिला मुख्‍यालय से इस स्‍थान की दूरी 31 कि.मी. और रायपुर राजधानी से इसकी दूरी 148 कि.मी. है, पर्यटन की दृष्टि से यह जगह बहुत ही प्रसिद्ध है, साथ ही रतनपुर धार्मिक और पुरातात्‍विक स्‍थल के निकट होने के कारण इस जगह में लोगो की भीड़ 12 महीना बनी रहती है, इस बांध के बारे में बात करें तो यह बांध सन् 1920 में बनाया गया था जिसे सारंग नदी परियोजना- खुंटाघाट बांध या संजय गांधी परियोजना कहा जाता है, ब्रिटिश राज के समय इस बांध का निर्माण कि गया था उस जमाने में यह जगह एक छोटा सा गांव हुआ करता था जिसमें न्‍यून संख्‍या में लोग रहा करते थे जब बांध बनाने का प्रस्‍ताव लाया गया तो गांव वालो के द्वारा उसका विरोध भी किया गया खारंग द्वारा निर्मित इस बांध के निर्माण कि प्रकिया काफी रोचक है, जब यह बरसात में खारंग नदी द्वारा जलमग्‍न हो गया तो लो...